राजकीय पशु चिकित्सालय पांच वर्षों से बंद, पशुपालकों को हो रही परेशानी
बलरामपुर जिला संवाददाता आशीष कसौधन

बलरामपुर। विकास खंड गैडास बुजुर्ग के ग्राम हुसेनाबाद ग्रिन्ट में पांच वर्षों से राजकीय पशु चिकित्सालय बंद पड़ा हुआ है। लाखों रुपये की लागत से निर्मित इस चिकित्सालय के संचालन के लिए अब तक शासन से पदों की स्वीकृति नहीं मिल पाई है। पांच वर्ष पूर्व पशुपालकों की सुविधा के लिए बनाए गए इस चिकित्सालय में पशु चिकित्सक, कंपाउंडर, सफाईकर्मी व चौकीदार के पद स्वीकृत न होने के कारण चिकित्सालय में तैनाती संभव नहीं हो पाई। इससे पशुपालकों को अपने पशुओं के इलाज के लिए 15 किमी दूर उतरौला या रेहरा बाजार जाना पड़ता है। मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी, बलरामपुर, डॉ. श्याम नगीना राम ने बताया कि पदों की स्वीकृति के लिए शासन को बार-बार पत्राचार किया गया है, लेकिन अब तक कोई निर्णय नहीं हुआ। चिकित्सालय के बंद होने से परिसर में घास और विषैले जीव-जंतु घर बना चुके हैं। इसके अलावा, बंद भवन के कारण दीवारें भी क्षतिग्रस्त हो रही हैं। वही ग्रामीणों ने शासन की ओर से शीघ्र पद स्वीकृत किए जाने की मांग की गई है ताकि पशुपालकों को राहत मिल सके।